CV (शैक्षिक अभिलेख एवं कार्य अनुभव) किसी व्यक्ति के अनुभव और अन्य योग्यताओं का एक संक्षिप्त विवरण होता है जिससे एक संभावित नियोक्ता को नौकरी तलाशनेवाला के बारे में पता चलता है। इसके साथ-साथ यदि कोई नौकरीशुदा आदमी जो किसी दूसरे जॉब की तलाश में है उसे भी इसे अपने साथ रखना पड़ता है।
अक्सर लोग CV और रेज्यूमे को एक ही समझते हैं लेकिन दोनों में एक उल्लेखनीय(नोटेबल) अंतर होता है। रेज्यूमे वो ऐप्लीकेन्ट लेकर चलता है जिसका उस जॉब से संबंधित या किसी भी काम का अनुभव नहीं होता है। जबकि CV हमेशा उसी उम्मीदवार के पास होता है जिसके पास उस जॉब से संबंधित काम अनुभव होता है।
रेज्यूमे की तरह ही यहाँ हम CV के ऐसे टेंप्लेट के बारे में चर्चा करेंगे जो काफी प्रचलित है। एक CV में आम तौर पर निम्नलिखित चीजें होती हैं −
नाम − श्रीमान, सुश्री जैसे सामान्य आदरसूचक शब्दों के बिना आवेदक का पूरा नाम।
पता − स्थायी पता
सार − आपने अपने पेशे में जो कुछ भी हासिल किया है उसका संक्षिप्त विवरण
शैक्षिक योग्यता − आपकी शैक्षिक योग्यता
अतिरिक्त ज्ञान − आपने जो स्किल्स अपने प्रोफेशन के अलावा अर्जित किये हैं।
अक्वायर्ड स्किल्स − सॉफ्ट स्किल्स
प्रोग्रामिंग लैंगग्वेज − यदि कोई हो
सॉफ़्टवेयर टूल्स − वो सॉफ्टवेयर टूल्स जिनका इस्तेमाल आप अपने प्रोफेशन में करते हैं (MS Word, Excel)
ऑपरेटिंग सिस्टम प्लेटफ़ॉर्म − ऑपरेटिंग सिस्टम जो आप उपयोग करते हैं (Windows, Mac)
डेटाबेस मैनेज्मेन्ट सिस्टम − यदि कोई हो
व्यक्तिगत कौशल(पर्सनल स्किल्स) − सॉफ्ट स्किल्स
अर्जित अनुभव − अपने अनुभव के बारे में विस्तृत जानकारी दें
उपलब्धियाँ व रूचियाँ − प्रोफेशनल लाइफ में आपकी उपलब्धियाँ
डिक्लरेशन − डिक्लरेशन में यह कहा जाता है कि आवेदक द्वारा दी गई सभी जानकारियाँ सही हैं।
नोट − e, g, j से मार्क किये हुये फील्ड आवेदक के काबिलियत के हिसाब से बदल जायेंगे। अब प्वाइंट h, i को एक जनरल टेंप्लेट की तरह माना जायेगा क्योंकि अब सभी कंपनियाँ यह मानकर चलती हैं कि आवेदकों के पास कंप्यूटर से जुड़े कुछ विशिष्ट सॉफ्टवेयर टूल्स जैसे MS Word, MS Excel आदि चलाने की सलाहियत होती है।